रबी फसल के सीजन में गेंहू की बुवाई का समय आ गया है। इस समय, किसानों के लिए सही गेंहू की किस्म का चयन करना महत्वपूर्ण होता है ताकि वे अच्छी उपज प्राप्त कर सकें। DBW 359, DBW 303 और DBW 332 तीन ऐसी किस्में हैं जो अधिक पैदावार देती हैं और किसानों के बीच काफी विश्वसनीय हैं। इन किस्मों का चयन करके किसान बेहतर उत्पादन और अधिक मुनाफा कमा सकते हैं। आइए, जानते हैं इन DBW किस्मों की विशेषताओं के बारे में विस्तार से।
संक्षिप्त विवरण: DBW 359 किस्म का विकास भारतीय गेहूं एवं जौ अनुसंधान संस्थान, करनाल (हरियाणा) द्वारा किया गया है। यह किस्म सीमित सिंचाई वाले क्षेत्रों के लिए उपयुक्त है और इसमें गेहूं ब्लास्ट तथा पत्ती और तना जंग जैसी बीमारियों के प्रति प्रतिरोधक क्षमता है।
इस किस्म की विशेषता यह है कि सीमित सिंचाई में भी उच्च उपज देने की क्षमता रखती है। सीमित सिंचाई वाले क्षेत्रों में इसकी उपज अन्य किस्मों से बेहतर होती है, जिससे यह किस्म किसानों के लिए काफी लाभकारी साबित हो सकती है।
संक्षिप्त विवरण: DBW 303 किस्म को वर्ष 2021 में अधिसूचित किया गया और यह उत्तर-पश्चिम मैदानी क्षेत्रों के सिंचित क्षेत्रों के लिए उपयुक्त है। इसकी अगेती बुवाई का समय 25 अक्टूबर से 5 नवंबर तक निर्धारित है।
DBW 303 किस्म अपनी उच्च उपज क्षमता और रोग प्रतिरोधक विशेषताओं के कारण सिंचित क्षेत्रों के किसानों के बीच लोकप्रिय है। अगेती बुवाई के साथ सही मात्रा में उर्वरक और वृद्धि नियंत्रकों के प्रयोग से किसान भाई इस किस्म से उच्च पैदावार प्राप्त कर सकते हैं।
संक्षिप्त विवरण: DBW 332 को जल्दी बुवाई (20 अक्टूबर से 5 नवंबर) के लिए अनुशंसित किया गया है और यह उच्च इनपुट (150% NPK) पर बेहतर प्रदर्शन करती है। यह किस्म स्ट्राइप और लीफ रस्ट के प्रति अत्यधिक प्रतिरोधी है, जिससे इसकी पैदावार में वृद्धि होती है।
DBW 332 किस्म उत्तर-पश्चिम के मैदानी क्षेत्रों के लिए बेहद उपयुक्त है और अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता के कारण किसानों के बीच लोकप्रिय हो रही है। यह किस्म जल्दी बुवाई के लिए प्रभावी मानी जाती है, जिससे किसान जल्दी तैयार होने वाली फसल से अच्छा लाभ कमा सकते हैं।
निष्कर्ष: गेहूं की DBW किस्में जैसे DBW 359, DBW 303 और DBW 332 उच्च उपज क्षमता और रोग प्रतिरोधकता के लिए जानी जाती हैं। इन किस्मों का चयन कर किसान भाई अपनी फसल से अधिकतम लाभ प्राप्त कर सकते हैं।